सवाई माधोपुर
प्रशासन की अनदेखी से ग्रान पंचायत में पशुओं को चारे के लिए आवंटित सेकड़ो बीघा चारागाह भूमि धीरे धीरे अतिक्रमण की भेंट चढ़ गयी है ।जिससे गांवो में पशुओं के चारे का संकट खड़ा हो गया है और अब गोवंश सड़को ओर बाजरो में आमजन को हानि पहुँचा रहे है । गोवंश की चपेट में आने से आये दिन होने वाली दुर्घटनाओं में कई लोगो की जान तक जा चुकी है ।लेकिन प्रशासन चारागाह भूमि से अतिक्रमण हटाने की बजाय अतिक्रमणकारियों को नोटिस देकर या फिर पैनल्टी लगाकर अपनी इतिश्री पूरी कर लेता है ।
सरकार ने ग्राम पंचायतों में गोवंश के चारे की सुविधा के लिए चारागाह भूमि आवंटित कर रखी है।जिस पर अतिक्रमण करने पर सजा ओर जुर्माने का प्रावधान भी है।लेकिन यहां सेकड़ो बीघा चारागाह भूमि पर वर्षो से प्रभावशाली लोगो ने अतिक्रमण कर रखा है। तहसील क्षेत्र के 11 पटवार मंडल में हजारो बीघा चारागाह जमीन पर अतिक्रमण कर रखा है जिनमे पटवार मंडल बोरदा में 51.84 हैक्टेयर., मित्रपुरा में 84.55 हैक्टेयर,मोरन में 93.21 हैक्टेयर,मझेवला में 85.100 हैक्टेयर,उदगांव में 101.73 हैक्टेयर,कुशलपुरा में 46.100 हैक्टेयर,बपुई116.67 हैक्टेयर, दतुली 38.04 हैक्टेयर, गोतोड में 69.73 हैक्टेयर ,गोठडा में 63.57 पीपलदा में 1.28 हैक्टेयर है वही अन्य पंचायत व गांवों में भी सैकड़ों बीघा चरागाह भूमि आवंटित है। मित्रपुरा तहसील क्षेत्र में सड़कों व बाजारों में खुलेआम घूमने वाली मवेशी वाहन चालकों व पैदल यात्रियों के लिए दुर्घटना का कारण बन रहे हैं। मवेशी कब आक्रामक होकर आपस में लड़ना शुरू कर दे यह पास से गुजरने वाले राहगीरों को भी पता नहीं लगता है मवेशियों की चपेट में आने से बाजारों में कई लोग घायल हो चुके हैं वहीं सड़कों पर मवेशियों की वजह से हुई दुर्घटनाओं में कई लोग मौत का शिकार भी हो चुके हैं यदि मवेशियों के लिए पंचायतों में चारागाह भूमि पर गौशालाओं के इंतजाम हो तो सड़क पर बेसहारा घूमने वाली मवेशियों की समस्याओं से निजात मिल सकता है।
https://www.bhaskar.com/local/rajasthan/jaipur/sawai-madhopur/news/encroachment-on-pasture-shadow-crisis-of-fodder-for-cows-129331183.html
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